नवरात्रि के दौरान दुर्गा माँ के नौ रूपों की पूजा की जाती है. हिंदू धर्म में मान्यता है कि एक साल में कुल चार नवरात्रि होती हैं। जिनमें से दो गुप्त नवरात्रि होती हैं, माघ और आषाढ़ माह में पड़ने वाली नवरात्रि को गुप्त नवरात्रि कहते हैं। वहीं मुख्य रूप से दो नवरात्रि- चैत्र नवरात्रि और शारदीय नवरात्रि मनाई जाती हैं।. नवरात्रि में देवी माँ पूजा की परंपरा सदियों से चली आ रही है. लेकिन, क्या आपको पता हैं कि सबसे पहले नवरात्रि में 9 दिनों का व्रत किसने रखा था? नवरात्रि की शुरुआत कैसे हुई?
इस प्रकार हुई नवरात्रि की शुरुआत
दुर्गा माँ स्वयं शक्ति का एक रूप हैं और आध्यात्मिक शक्ति, सुख और समृद्धि के लिए भक्तों द्वारा नवरात्रि के दौरान उनकी पूजा की जाती है. वाल्मिकी रामायण में वर्णन मिलता है कि लंका पर चढ़ाई करने से पूर्व भगवान श्रीराम ने ऋष्यमूक पर्वत पर आश्विन माह के शुक्ल पक्ष की प्रतिपदा तिथि से नवमी तिथि तक परमशक्ति महिषासुरमरदिनी देवी दुर्गा की विधि-विधान से पूजा-अर्चना की थी। भगवान ब्रह्मा ने श्री राम को देवी दुर्गा के एक रूप चंडीदेवी की पूजा करने की सलाह दी. ब्रह्मा जी की सलाह मानकर भगवान राम ने प्रतिपदा तिथि से नवमी तिथि तक चन्देवी का पाठ किया.
प्राप्त हुआ श्री राम को माता का आशीर्वाद
चंडी के जाप के साथ-साथ ब्रह्मा जी ने श्री राम से यह भी कहा कि पूजा तभी सफल होगी जब चंडी पूजन और हवन के बाद 108 नीले कमल चढ़ाए जाएं. ये नीले कमल बहुत ही दुर्लभ माने जाते हैं. रामजी ने अपनी सेना की सहायता से ये 108 नीले कमल प्राप्त किये, परन्तु जब रावण को इसके बारे में पता चला, तो उसने अपनी जादुई शक्तियों से उनमें से एक नीले कमल को नष्ट कर दिया. चंडी पूजा के अंत में, जब भगवान राम ने कमल का फूल चढ़ाया, तो एक कमल गायब था. यह देखकर श्री राम बहुत चिंतित हो गए, लेकिन अंततः उन्होंने कमल की जगह अपनी एक आंख माता चंडी को चढ़ाने का फैसला किया. जैसे ही उन्होंने अपनी आंखें चढ़ाने के लिए तीर उठाया, माता चंडी प्रकट हो गईं. मां चंडी उनकी भक्ति से प्रसन्न हुईं और उन्हें जीत का आशीर्वाद दिया.
नवमी तक श्री राम ने चंडी देवी को प्रसन्न करने के लिए अन्न या जल तक ग्रहण नहीं किया. नौ दिनों तक मां दुर्गा के स्वरूप चंडी देवी की पूजा करने के बाद राम ने रावण को हराया था. ऐसा माना जाता है कि तभी से नवरात्रि की शुरुआत हुई और भगवान राम पहले राजा और पहले मानव थे जिन्होंने नवरात्रि के 9 दिनों का व्रत रखा था.