ज्येष्ठ मास की शुरुआत के साथ ही नौतपा का विशेष समय शुरू हो जाता है। इस दौरान धरती पर भीषण गर्मी पड़ती है क्योंकि सूर्य देव अपने उग्र रूप में रहते हैं। हिन्दू पंचांग के अनुसार, इस वर्ष नौतपा 25 मई से शुरू होकर 8 जून तक रहेगा। आमतौर पर नौतपा 9 दिनों का होता है, लेकिन इस बार गर्मी की तीव्रता को देखते हुए इसकी अवधि 15 दिनों तक मानी जा रही है। इस समय सूर्य देव रोहिणी नक्षत्र में प्रवेश करते हैं और यही समय ज्योतिष शास्त्र के अनुसार कुछ विशेष पौधे लगाने के लिए बेहद शुभ होता है।
नौतपा में कौन से पौधे लगाना है शुभ?
नौतपा के दौरान कुछ विशेष पौधों को घर या आसपास लगाने से जीवन में सुख, शांति, समृद्धि और पितरों का आशीर्वाद प्राप्त होता है। आइए जानते हैं ऐसे ही कुछ पवित्र और शुभ माने जाने वाले पौधों के बारे में:
- पीपल का पौधा
हिन्दू धर्म में पीपल के पेड़ को अत्यंत पूजनीय माना गया है। ऐसा माना जाता है कि पीपल में भगवान विष्णु, ब्रह्मा और महेश सहित अनेक देवताओं का वास होता है। नौतपा के समय पीपल का पौधा लगाना बहुत शुभ माना जाता है। इससे घर में सकारात्मक ऊर्जा का संचार होता है और पितरों का आशीर्वाद भी प्राप्त होता है, जिससे जीवन में सुख-शांति बनी रहती है।

- शमी का पौधा
शमी का पौधा नौतपा के दौरान लगाने से विशेष फल प्राप्त होते हैं। इसे सूर्य देव का प्रतीक माना जाता है। शमी का पौधा लगाने से कुंडली में सूर्य की स्थिति मजबूत होती है, जिससे जीवन की कई बाधाएं दूर होती हैं और आत्मविश्वास में वृद्धि होती है।

- तुलसी का पौधा
तुलसी को सनातन धर्म में मां लक्ष्मी का स्वरूप माना गया है। इसे बेहद पवित्र और पूजनीय पौधा माना जाता है। माना जाता है कि जिस घर में तुलसी का पौधा होता है, वहां देवी लक्ष्मी का वास होता है। नौतपा के दौरान तुलसी का पौधा लगाने से घर में सकारात्मक ऊर्जा आती है, आर्थिक स्थिति मजबूत होती है और जीवन की परेशानियां दूर होती हैं।

जीवन में खुशहाली लाते हैं ये पौधे :
नौतपा के इन गर्म दिनों में इन पवित्र पौधों को लगाना न केवल पर्यावरण के लिए लाभकारी है, बल्कि धार्मिक और आध्यात्मिक दृष्टि से भी अत्यंत शुभ माना जाता है। ये पौधे नकारात्मक ऊर्जा को दूर करके घर में सुख-समृद्धि और शांति का वातावरण बनाते हैं। अगर आप भी अपने जीवन में खुशहाली चाहते हैं तो नौतपा के इस विशेष समय का लाभ जरूर उठाएं और इन पौधों को लगाएं।
नोट : लेख में दिए गए नुस्खे की जानकारी व दावे पूरी तरह से विद्वानों से की गयी बातचीत पर आधारित हैं। दिव्यसुधा इसकी सत्यता, सटीकता और असर की जिम्मेदारी नहीं लेती है। किसी भी तरह के उपाय आजमाने से पहले अपने ज्योतिषाचार्य की सलाह जरूर ले लें।