ज्येष्ठ माह का दूसरा बड़ा मंगल कल यानि कि 20 मई को मनाया जाएगा। उत्तर भारत, खासकर राजधानी लखनऊ में यह पर्व अत्यंत श्रद्धा और उत्साह के साथ मनाया जाता है। यह दिन न केवल पूजा-पाठ का, बल्कि सेवा, समर्पण और आस्था का प्रतीक माना जाता है। मान्यता है इस दिन हनुमान जी की पूजा करने से उनकी विशेष कृपा प्राप्त होती है। इस अर्टिकल में हम बड़ा मंगल का इतिहास, मान्यता और इन उपायों के बारे में जानकारी साझा कर रहे हैं।
बड़ा मंगल का महत्व, इतिहास और मान्यता
बड़े मंगल का पौराणिक संबंध रामायण और महाभारत काल से जुड़ा है। मान्यता है कि जब पांडवों के भाई भीम अपने बल पर गर्व करने लगे थे, तब हनुमान जी एक वृद्ध वानर के रूप में प्रकट होकर उन्होंने भीम का अभिमान तोड़ा। तभी से ज्येष्ठ माह के मंगलवार को ‘बड़ा मंगल’ या ‘बुढ़वा मंगल’ के रूप में मनाया जाने लगा।
बड़ा मंगल पर करें ये विशेष उपाय, होंगी सभी मनोकामनाएं पूरी
- हनुमान चालीसा का 11 बार पाठ करें
श्रद्धा से हनुमान चालीसा का पाठ करने से जीवन में आने वाली बाधाएं दूर होती हैं। - सिंदूर और लाल चोला अर्पित करें
हनुमान जी को सिंदूर चढ़ाएं, लाल रंग का चोला पहनाएं और बूंदी का भोग लगाएं। - नारियल और लाल ध्वज चढ़ाएं
हनुमान मंदिर में नारियल अर्पित करें और लाल रंग का झंडा चढ़ाएं। - भंडारे का आयोजन करें
जरूरतमंदों को भोजन कराना और प्रसाद वितरण करना बड़ा पुण्य माना जाता है। - “ॐ हं हनुमते नमः” मंत्र का 108 बार जाप करें
यह मंत्र मानसिक शांति, आत्मबल और सुरक्षा प्रदान करता है।
बड़ा मंगल के उपायों से मिलने वाले लाभ
-जीवन के संकटों से राहत
- आर्थिक समस्याओं से मुक्ति
- आत्मविश्वास और मानसिक शांति में वृद्धि
- पारिवारिक सुख-शांति और समृद्धि
- शत्रुओं पर विजय
- पुण्य और सकारात्मक ऊर्जा की प्राप्ति
- आध्यात्मिक उन्नति का श्रेष्ठ अवसर
नोट : लेख में दिए गए नुस्खे की जानकारी व दावे पूरी तरह से विद्वानों से की गयी बातचीत पर आधारित हैं। दिव्यसुधा इसकी सत्यता, सटीकता और असर की जिम्मेदारी नहीं लेती है। किसी भी तरह के उपाय आजमाने से पहले अपने ज्योतिषाचार्य की सलाह जरूर ले लें।